Period Ki Problem, PCOS , ओवेरियन सिस्ट , अनियमित मासिक धर्म का समाधान

आइये दोस्तों आज हम महिलाओं से सम्बंधित उनके बहुत ही महत्वपूर्ण टॉपिक पीरियड्स की गड़बड़ी ( Period Ki Problem ) के बारे में बात करेंगे, आजकल यह देखा गया है के महिलाएं अपने पीरियड सम्बंधित समस्याओं को लेकर बहुत ही चिंतित हैं। अनियमित मासिक धर्म यानि पीरियड की गड़बड़ी के मुख्य कारण को  जानेंगे। 

हर 10  में 1  महिला आज पी सी ओ एस  , एंडोमेट्रिओसिस , ओवेरियन सिस्ट से पीड़ित हैं । जिसका  मुख्य कारण हार्मोनल इम्बैलेंस बताया जाता है, यह हार्मोनल इम्बैलेंस होता कैसे है, कैसे होता है ओवेरियन सिस्ट , पीरियड के दिनों में क्यों होता है इतना दर्द के बर्दाश्त नहीं किया जा सके , पीरियड जल्दी आना , पीरियड देर से आना , पीरियड में ज़्यादा फ्लो आना आज हम इन सभी समस्याओं के बारे में बातें करेंगे और जानेंगे इसका अचूक समाधान जो  अनेक महिलाओं पर  बहुत असरदार साबित हुआ है और दुनिया के एक्सपर्ट्स डॉक्टर्स की यही ओपिनियन है। यह आर्टिकल काफी रिसर्च के बाद मैंने लिखी है  और इसका मुख्य उद्देश्य आपको सही मार्ग दिखाना और इस समस्या का समाधान बताना है इसीलिए  आप अंत तक पढ़ें और बताये गए नियमों का पालन करें जरूर लाभ होगा ।

यदि अगर किसी महिला के मासिक धर्म में गड़बड़ी है , यदि पीरियड्स के दिनों में बहुत ज़्यादा दर्द होता है या बहुत ज़्यादा बहाव होता है या पीरियड सही समय पर नहीं आता है तो हमें इन बातों को गंभीरता से लेनी चाहिए थोड़ी सी भी लापरवाही नहीं करनी चाहिए, यदि इसमें हमने लापरवाही की तो गर्भ धारण करने में भी महिलाओं को समस्या हो सकती है जो आगे चल कर इनफर्टिलिटी का मुख्य कारन बनती है ।

रिसर्च से यह पता चला है के पीरियड्स की अनियमिता ,ओवेरियन सिस्ट, पि सी ओ एस (पाली सिस्टिक ओवेरियन सिंड्रोम ) एंडोमेट्रिओसिस , फाइब्रॉइड्स इन सभी का प्रमुख कारन हार्मोनल इम्बैलेंस है ,  हॉर्मोन के गड़बड़ी के वजह से शरीर का संतुलन बिगड़ता है और ज्यादातर महिलाओं में यह समस्या देखा जाता है,

हार्मोनल इमबैलेंस का सबसे प्रमुख कारन आजकल का खान-पान और डेली रूटीन है,  ज़्यादा स्ट्रेस भरा जीवन और खान-पान का सही ध्यान न देना ही इसका मुख्य कारण बनती है । आइये हम विस्तार से जानें की इसका समाधान क्या है ।

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Period Ki Problem, PCOS, ओवेरियन सिस्ट , अनियमित मासिक धर्म का समाधान

1 ) अपने डाइट में हरी सब्ज़ी का ज़्यादा इस्तेमाल करें

Green vegetables for Period ki problem
Green vegetables for Period ki problem

रिसर्च से यह पता चला है के जो महिलाएं हरी सब्ज़ियां खाती हैं यानि अगर वो शाकाहारी हैं तो उनमें यह समस्या कम देखने को मिलती है, हमें माँसाहारी भोजन से परहेज करना है, जितना हो सके हरी सब्ज़िओं का सेवन करें. इससे हमें सारी पोषक तत्व  मिलती हैं और हार्मोनल इम्बैलेंस नहीं होती है ।

2 ) ग्लूटेन फ्री डाइट का इस्तेमाल करें

gluten free diet for Period ki problem
gluten free diet for Period ki problem

क्या है ग्लूटेन फ्री डाइट ? यह देखा गया है के हमारा शरीर किसी भोजन या खान-पान के प्रति बहुत एलर्जिक होता है तथा शरीर में हार्मोनल असंतुलन की स्तिथि बनती है ग्लूटेन फ्री डाइट को आसान शब्दों में हम यह कह सकते हैं के गेहू का आटा , मैदा जो भोजन गेहूं से बना हो उसका इस्तेमाल न करें उसके जगह पर जवार का आटा इस्तेमाल करें  ।

3 ) चीनी तथा शुगर का कम से कम इस्तेमाल करें

No Sugar diet for Period ki problem
No Sugar diet for Period ki problem

रिसर्च से यह भी पता चला है के कुछ महिलाएं के शरीर के अंदर में इन्सुलिन स्पाइक यानि इन्सुलिन सेंसिटिविटी पाया जाता है जिसके कारन उनके शरीर में हार्मोनल इम्बैलेंस होती है इसीलिए उन्हें चाहिए के कम से कम चीनी का इस्तेमाल करें ।

4 ) गाजर, पालक, चुकंदर, और कच्ची हल्दी का जूस निकाल कर डेली पियें.

4 -5  गाजर , हरी पालक साग के पत्ते , एक चुकंदर थोड़ी सी कच्ची हल्दी  का जूस निकाल लें और उसे डेली पियें यह काफी असरदार घरेलु उपाय है उन महिलाओं के लिए जिनको गर्भ धारण में समस्या हो रही हो या जिनका मासिक धर्म की अनियमिता हो , या किसी तरह का ओवेरियन सिस्ट हो वह महिलाएं इस जूस को डेली पियें बहुत लाभ होगा 2  महीने के अंदर में ही आपको परिणाम दिखेगा

5 ) दूध या दूध से बनि भोजन का प्रयोग न करें

No milk diet for Period ki problem
No milk diet for Period ki problem

दूध या दूध से बनी भोजन का प्रयोग न करें देखा गया है के जो महिलाएं दूध या डेरी प्रोडक्ट का सेवन ज़्यादा करती हैं उनके सिम्पटम्स तेज़ी से बढ़ते हैं जिसका प्रमुख कारन डेरी प्रोडक्ट से एलर्जी है इसीलिए दूध या डेरी प्रोडक्ट का इस्तेमाल न करें ।

6 ) दिन में एक चम्मच या उससे थोड़ा कम दालचीनी के पाउडर को पानी में मिला के पियें.

दालचीनी को पीस लें और उसके पाउडर को एक चम्मच और एक गिलास पानी में रोज़ाना पियें इससे इन्सुलिन स्पाइक या इन्सुलिन सेन्सिटिटवी के समस्या ख़तम होती है ।

7 ) मल्टीविटामिन कैप्सूल्स और मिनरल्स सप्लीमेंट का सेवन करें

हमारे भोजन में एसेंशियल विटामिन्स और मिनरल्स के कमी के कारन भी बहुत सारी समस्याएं पैदा  होती है तथा हमें चाहिए  के हम रोजाना एक मल्टीविटामिन और मिनरल्स का कैप्सूल्स ज़रूर लें ओमेगा 3  फैटी एसिड या कॉड लिवर आयल कैप्सूल्स भी लें और साथ में विटामिन डी का सप्लीमेंट  दिन में ज़रूर लें अगर आप रोज़ाना धुप में बैठती हैं तो विटामिन डी आपका शरीर बना लेता है तब विटामिन डी सप्लीमेंट की ज़रुरत नहीं और जो महिलाएं धुप नहीं ले पति उन्हें विटामिन डी सप्लीमेंट लेना ज़रूरी है

8 ) एक्सरसाइज डेली करें

Daily Exercise for Period ki problem
Daily Exercise for Period ki problem

अगर आप gym जा सकती हैं तो ज़रूर जाएँ एक्सरसाइज करना बहुत ही ज़रूरी है इससे देखा गया है के सारी हार्मोनल इमबॅलेन्सेस की समस्या ख़तम हो जाती हैं यदि आप gym नहीं जा सकतीं तो घर में ही आधा घंटा एक्सरसाइज करें यह बहुत ज़रूरी है

निष्कर्स

ऊपर दिए गए तमाम बातों को अपने डेली रूटीन में लाएं , और बाहर के खान-पान या जंक फ़ूड से परहेज करें , 3  महीने तक  दिए गए रूटीन को फॉलो करें बहुत लाभ होगा । किसी तरह के हार्मोनल इमबैलेंस , PCOS, Endometriosis , ओवेरियन सिस्ट , fibroid पीरियड में गड़बड़ी ( Period Ki Problem ), गर्भ धारण में समस्या, अंडा न बनना  यह सभी प्रॉब्लम से आपको छुटकारा मिलेगा , यदि आपके मन  में कुछ सवाल है तो निचे दिए गए कमेंट बॉक्स में अवश्य पूछें । आपको उचित जवाब दिया जायेगा ।

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